Friday, 15 January 2016

16 वर्ष से 18 वर्ष के किशोरों को अब वयस्क: आया नया किशोर न्याय कानून

अमल में आया नया किशोर न्याय कानून

दुष्कर्म और हत्या जैसे घृणित अपराध में लिप्त 16 वर्ष से 18 वर्ष के किशोरों को अब वयस्क के रूप में देखा जाएगा। शुक्रवार से लागू नए किशोर न्याय अधिनियम के तहत ही अब इन्हें सजा होगी। महिला एवं बाल कल्याण मंत्रलय के मुताबिक नए कानून के तहत 16 से 18 साल के लोगों को अब किशोर कानून के तहत घृणित अपराधों के लिए संरक्षण नहीं मिलेगा। इससे पहले किशोर कानून के तहत दुष्कर्म जैसे संगीन जुर्म के आरोपियों के मामले भी जुवेनाइल जस्टिस बोर्ड के अधीन ही देखे जाते थे। दोषी पाए जाने पर इन्हें बाल सुधार गृह में अधिकतम तीन साल रखा जाता था।

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